माला आहूजा द्वारा दायर श्रम विवाद खारिज
ब्यूरो चीफ अनिल चौधरी
इंदौर। श्रम आयुक्त कार्यालय (Assistant Labour Commissioner - ALC), इंदौर ने माला आहूजा द्वारा दायर श्रम विवाद (LCMS केस संख्या: INDBIDTER296625) को बिना किसी विधिक आधार के पाया और उसे अप्रासंगिक व अवैध मानते हुए खारिज कर दिया। श्रीमती माला आहूजा द्वारा "Termination from Service" का झूठा और भ्रामक आरोप लगाया गया था, जबकि तथ्य यह दर्शाते हैं कि उन्होंने कभी कंपनी के साथ औपचारिक रूप से कार्य प्रारंभ ही नहीं किया।
माला आहूजा को मई 2025 में "सेल्स इंजीनियर पद हेतु 6,00,000/- वार्षिक वेतन पैकेज पर प्रस्तावित नियुक्ति दी गई थी, जिसे उन्होंने स्वीकार किया। 9 जून 2025 को जॉइनिंग के लिए उपस्थित होने के बावजूद, उन्होंने आवश्यक कानूनी प्रक्रियाएं - जैसे कि Service Agreement, Non-Disclosure Agreement (NDA), तथा अन्य अनिवार्य दस्तावेज (पूर्व नियोक्ता का Relieving Letter, NOC, अनुभव प्रमाणपत्र आदि) जमा नहीं किए। स्पष्ट रूप से, कोई विधिक नियोक्ता-कर्मी संबंध स्थापित ही नहीं हुआ। इसके बावजूद, उन्होंने कंपनी से ₹3,00,000/- (तीन लाख रुपये) की अनाधिकृत मांग की.... यह मांग किसी भी प्रकार के कॉन्ट्रैक्ट, नियुक्ति पत्र या श्रम कानून के अंतर्गत वैध नहीं थी और इसे गलत उद्देश्य से प्रस्तुत किया गया था।
ALC इंदौर ने सभी तथ्यों की समीक्षा के बाद यह स्पष्ट किया कि माला आहूजा की ओर से प्रस्तुत दावा गलत और गुमराह करने वाला था, उनके द्वारा प्रस्तुत दस्तावेज अपूर्ण थे, और इस विवाद की विधिक अधिकार-क्षेत्र (Jurisdiction) में कोई मान्यता नहीं थी। इस प्रकार यह केस न्यायालय दद्वारा विधिवत खारिज किया गया। कृष्णा एसोसिएट्स, ओ.टी. सॉल्यूशन्स टेक प्रा. लि. के अधिकृत विधिक सलाहकार के रूप में उक्त जानकारी एडवोकेट राहुल जोगी ने एक प्रेस वार्ता में मीडिया को दी। श्री जोगी ने मीडिया से चर्चा में कहा कि कृष्णा एसोसिएट्स इस निष्पक्ष निर्णय का स्वागत करता है और सभी कंपनियों से आग्रह करता है कि वे इस प्रकार के बेबुनियाद दावों के विरुद्ध कानूनी विकल्पों का साहसपूर्वक उपयोग करें। हम ओ.टी. सॉल्यूशन्स टेक प्रा. लि. की ओर से श्रम विभाग का आभार व्यक्त करते हैं कि उन्होंने तथ्यों के आधार पर न्यायोचित निर्णय लिया।

