नीतीश ने संजय झा को सौंपी लोकसभा चुनाव के लिए बड़ी जिम्मेदारी
नई दिल्ली। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अपनी पार्टी जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) में दूसरी पीढ़ी के नेताओं को आगे बढ़ाने में लग गए हैं। नीतीश खुद और उनकी पार्टी की टॉप लीडरशिप में गिने जाने वाले बिजेंद्र प्रसाद यादव, रामनाथ ठाकुर 70 पार कर चुके हैं। ललन सिंह और विजय चौधरी जैसे नेता भी 65 प्लस हैं। ऐसे में नीतीश ने पार्टी के अंदर बीजेपी से आए संजय कुमार झा और कांग्रेस से आए अशोक चौधरी को आगे बढ़ाना शुरू किया है जो आगे चलकर पार्टी को संभाल सकें। दोनों 56-57 साल के हैं और भारतीय नेताओं की उम्र के लिहाज से युवा हैं। मुंगेर लोकसभा से चुनाव लड़ने के लिए जेडीयू के राष्ट्रीय पद से इस्तीफा देकर ललन सिंह खुद साइड हो गए हैं।
ऐसे में राष्ट्रीय राजनीति में जेडीयू के हितों की रक्षा के लिए नीतीश ने संजय कुमार झा को आगे बढ़ाया है जिन्हें वो अपनी सरकार में लगातार तीसरी बार मंत्री बना चुके हैं। इंडिया गठबंधन में सीट बंटवारे को लेकर कांग्रेस से चल रही बातचीत में जेडीयू से संजय झा ही नीतीश के दूत हैं। नीतीश ने संजय झा को यह बड़ी चुनावी जिम्मेदारी सौंपी है कि वो सीट बंटवारा में जेडीयू की सीट बचाकर ले आएं। संजय झा दिल्ली की राजनीतिक गलियों को बखूबी जानते हैं। अरुण जेटली के जमाने से बीजेपी और जेडीयू के बीच सेतु का काम कर रहे संजय झा की जेडीयू में एंट्री भी जेटली के कहने पर नीतीश ने कराई थी। तब से वो नीतीश के सबसे भरोसेमंद सहयोगी के तौर पर उभरे हैं। जब भी नीतीश के मन बदलने की चर्चा होती है तो चर्चा संजय झा की होती है क्योंकि ऐसा कोई भी परिवर्तन हुआ तो उसके सूत्रधार वही होंगे।
साभार लाइव हिन्दुस्तान