दो दिन बाद मध्यप्रदेश में होगी झमाझम बारिश
भोपाल। मध्यप्रदेश में दो दिन के बाद झमाझम बारिश का दौर शुरू हो जाएगा। मौसम विभाग का कहना है कि 18 जून से मानसून मध्यप्रदेश में प्रवेश की दिशा बदल सकता है। शनिवार को छिंदवाड़ा उमरानाला में आंधी के साथ तेज बारिश हुई। रायसेन, बुरहानपुर और धार के अलावा कई जिलों में प्री-मानसून की बारिश हुई। प्रदेश में सबसे गर्म शहर छतरपुर रहा। यहां का तापमान 45.3 दर्ज किया गया। इधर, मौसम विभाग ने भोपाल, विदिशा, देवास, नीमच, खरगौन, इंदौर, शाजापुर में 15 को तेज आंधी-तूफान का अलर्ट जारी किया है।
मध्यप्रदेश में भीषण गर्मी के चलते लोग बारिश का इंतजार कर रहे हैं। अब उनका यह इंतजार खत्म होने वाला है। जल्द ही मध्यप्रदेश बारिश से तर हो जाएगा। मौसम वैज्ञानिकों से मिली जानकारी के अनुसार, प्रदेश में पहले मानसून दक्षिणी हिस्सों में दस्तक देगा। फिर पूरे प्रदेश में झमाझम बारिश होगी। हालांकि, दो दिन राजधानी भोपाल सहित प्रदेश के कई इलाके गर्मी से तपेंगे।
केरल के कोट्टायम जिले के कई इलाकों में मानसून की पहली बारिश भी हो चुकी है। यह 10 साल में पहला मौका है, जब जल्दी बारिश शुरू हुई है। मौसम विभाग के मुताबिक, 11 महीने बाद अलनीनो खत्म हो गया है और अब ला नीना विकसित हुआ है। इस बार 'ली-नीना' के असर से मानसून को रफ्तार मिली है और यह समय से डेढ़ दो दिन पहली ही भारत पहुंच गया। मौसम वैज्ञानिकों का यह भी कहना है कि इस बार मानसून मध्यप्रदेश में प्रवेश की दिशा बदल सकता है। दरअसल, मानसून अरब सागर और बंगाल की खाड़ी से एंट्री लेता है। इस बार अरब सागर के मानसून की गति में गिरावट आई है। अब बंगाल की खाड़ी से मानसून की मध्यप्रदेश में एंट्री हो सकती है। धीरे-धीरे मानसून मध्यप्रदेश की ओर बढ़ेगा और 18 जून को सूबे में धमाकेदार एंट्री लेगा।
भोपाल मौसम विभाग के सीनियर वैज्ञानिक वेद प्रकाश ने बताया कि 10 से 14 जून के बाद मानसून स्थिर है। इससे वह कमजोर हो गया है। इसलिए मध्यप्रदेश में इंतजार करना पड़ेगा। वर्तमान में दो साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम एक्टिव है। दक्षिण हिस्से में बारिश और तेज हवा की स्थिति बनी हुई है। यहां हवा की गति भी अधिक है। उत्तर-पश्चिमी हिस्से में भी ऐसी स्थिति बन रही है। इसलिए मानसून आने के पहले आंधी, गरज-चमक और बारिश की स्थिति बनी रहेगी।
साभार अमर उजाला