इंदौर नगर निगम में एकीकृत डिजिटल पोर्टल के क्रियान्वयन हेतु बैठक
संपत्ति कर, जलकर व कचरा प्रबंधन की होगी एक ही आईडी – नागरिकों को मिलेगा आसान और पारदर्शी सेवा अनुभव
आदित्य शर्मा, 8224951278
इंदौर। डिजिटल गवर्नेंस को बढ़ावा देने और नागरिक सुविधाओं को अधिक सरल व पारदर्शी बनाने की दिशा में इंदौर नगर निगम ने एक अहम पहल की है। नगर निगम के पोर्टल के बेहतर क्रियान्वयन को लेकर आज निगम मुख्यालय में एक उच्चस्तरीय बैठक का आयोजन किया गया। बैठक की अध्यक्षता महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने की।
बैठक में सूचना एवं प्रौद्योगिकी प्रभारी राजेश उदावत, महापौर परिषद सदस्य राकेश जैन, अपर आयुक्त अभिलाष मिश्रा, नरेन्द्रनाथ पांडे, अनिल बनवारियां सहित निगम के अधिकारीगण तथा पोर्टल निर्माण में संलग्न एजेंसी के प्रतिनिधि उपस्थित थे।
बैठक के दौरान निगम पोर्टल के माध्यम से नागरिकों को दी जाने वाली सेवाओं की समग्र जानकारी प्रस्तुत की गई। महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने कहा कि “डिजिटल इंदौर” की संकल्पना को साकार करने हेतु एकीकृत निगम पोर्टल एक महत्वपूर्ण कड़ी है, जिससे करदाता को घर बैठे विभिन्न सेवाएं सहज रूप से प्राप्त होंगी।
एकीकृत करदाता आईडी की व्यवस्था:
बैठक में बताया गया कि निगम अब संपत्ति कर, जलकर व कचरा प्रबंधन शुल्क को एक ही करदाता आईडी से जोड़ने की दिशा में काम कर रहा है। डिजिटल पते के समावेश से एकीकृत पहचान प्रणाली (यूआईडी) विकसित की जाएगी, जिससे दोहराव और भ्रम की स्थिति समाप्त होगी। यह व्यवस्था संपदा पोर्टल से भी जोड़ी जाएगी।
भुगतान प्रणाली का सरलीकरण:
पोर्टल के माध्यम से नागरिकों को कर भुगतान के लिए विविध डिजिटल विकल्प प्रदान किए जाएंगे, जैसे – यूपीआई, क्रेडिट/डेबिट कार्ड, नेट बैंकिंग आदि। साथ ही, एआरओ से लेकर कैशियर तक की जिम्मेदारियों को डिजिटल रूप से ट्रैक किया जा सकेगा।
जन्म, मृत्यु और विवाह पंजीयन प्रक्रिया में नवाचार:
बैठक में विवाह पंजीकरण को नागरिकों के लिए अधिक सुविधाजनक बनाने पर भी चर्चा हुई। प्रस्तावित व्यवस्था के अनुसार, यदि पति-पत्नी में से कोई एक इंदौर में निवासरत है और दूसरा बाहर, तो ऐसे मामलों में वीडियो कॉल के माध्यम से वर्चुअल उपस्थिति के आधार पर विवाह पंजीयन संभव हो सकेगा।
वार्ड स्तरीय मास्टर प्लान की डिजिटाइजेशन:
हर वार्ड के लिए पृथक मास्टर प्लान तैयार कर उसे निगम पोर्टल पर सार्वजनिक किया जाएगा। यह प्रयास शहर के समग्र और पारदर्शी विकास की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा।
राजेश उदावत ने कहा“यह पोर्टल केवल राजस्व वसूली की प्रक्रिया को ही पारदर्शी नहीं बनाएगा, बल्कि सभी विभागों की सेवाओं को एकीकृत कर नागरिकों को डिजिटल प्लेटफॉर्म पर एक स्थान पर उपलब्ध कराएगा। यह इंदौर को स्मार्ट गवर्नेंस की दिशा में अग्रणी बनाएगा।”
महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने कहा कि इंदौर नगर निगम का यह कदम न केवल डिजिटल इंडिया की भावना को सशक्त करता है, बल्कि नागरिक सुविधाओं को आधुनिक तकनीक के माध्यम से अधिक सरल, पारदर्शी और प्रभावी बनाने की दिशा में हमारा एक प्रयास है।