सीएम मोहन यादव ने ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट को लेकर बताई योजना

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भोपाल। मध्य प्रदेश में साल 2023 में भाजपा की जबरदस्त जीत हुई। इसने कांग्रेस को बड़ा झटका दिया। बीजेपी की जीत के बाद डॉक्टर मोहन यादव को मुख्यमंत्री चुना गया। यह भाजपा नेतृत्व का एक चौंकाने वाला फैसला था। जिसने सियासी गलियारों में तहलका मचा दिया था। बचपन से ही आरएसएस स्वयंसेवक रहे 59 वर्षीय डॉक्टर मोहन यादव भाजपा के साथ लगातार काम करते रहे हैं।
उन्होंने 2013 से लगातार तीन बार उज्जैन दक्षिण विधानसभा सीट से जीत हासिल की। वर्तमान में सीएम मोहन यादव 24-25 फरवरी को भोपाल में आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट जैसे बड़े आयोजन पर फोकस कर रहे हैं। इस समिट का उद्देश्य एमपी में इन्वेस्टमेंट और इंडस्ट्री को आकर्षित करना है। मध्य प्रदेश कृषि पर निर्भर राज्य है। इसे देश के सबसे पिछड़े राज्यों में से एक माना जाता था। सीएम मोहन यादव इसे विकास की नई ऊंचाइयों तक ले जाने वाले हैं।
मोहन यादव ने मुख्यमंत्री बनने के बाद से राज्य के विकास के लिए कई कदम उठाए हैं। उनका ध्यान निवेश आकर्षित करने, उद्योगों को बढ़ावा देने और शिक्षा में सुधार पर है। वे सिंहस्थ 2028 की तैयारियों में भी जुटे हैं। यादव का मानना है कि मध्य प्रदेश में विकास की अपार संभावनाएं हैं। वे राज्य को कृषि प्रधान राज्य से औद्योगिक राज्य बनाने के लिए प्रयासरत हैं।
सीएम मोहन ने राज्य में दो दशकों से अधिक समय से इन्वेस्टर्स समिट आयोजित किए जा रहे हैं। एमपी का औद्योगिक मानचित्र पर स्थान और देश की जीडीपी में योगदान पहले से बेहतर होता जा रहा है। पिछले 15-20 वर्षों में हमने सुधार किया है। यह सच है कि हम अभी भी कृषि आधारित अर्थव्यवस्था के रूप में जाने जाते हैं, लेकिन औद्योगिक विकास के बिना राज्य का विकास नहीं हो सकता। मुझे खुशी है कि जब से हमने इन पहलुओं पर काम करना शुरू किया है, तब से हम अच्छे परिणाम देख रहे हैं।
मुख्यमंत्री डॉक्टर मोहन यादव ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी पतन की ओर है इसलिए कोई पार्टी छोड़ता है तो भारतीय जनता पार्टी की विचारधारा को बरकरार रखते हुए उसका स्वागत करते हैं।
साभार नवभारत टाइम्स

 

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