Category : Dharm

"दान में भी हो विवेक — जब युधिष्ठिर को दान के अहंकार का बोध हुआ"

  •  rajneeti24news.com

आज का प्रेरक प्रसंग राजेश धाकड़महाराज युधिष्ठिर धर्मराज के रूप में विख्यात थे। उनका यह दृढ़ संकल्प था कि वे अपनी प्रजा को सदा दान देते रहें। उनके पास एक अक्षय पात्र था, जो जो कुछ भी माँगा जाता, तत्काल...

Read more

आनंद कस्तूरी के समान हृदय में होता है यह बाह्य में प्राप्त नहीं हो सकता : श्री माताजी

  •  rajneeti24news.com

आपने कस्तूरीमृग की कहानी सुनी होगी । कस्तूरीमृग की नाभि में कस्तूरी होती है, जिसकी सुगंध बड़ी ही मनमोहक होती है ।उस मनभावन सुगंध की चाह में मृग पूरे जंगल की दौड़ लगाता है, थक जाता है परंतु उसे उस सुगं...

Read more

Latest News

Everyday news at your fingertips Try Ranjeet Times E-Paper